लखनऊ: भारत के प्रमुख मानसिक स्वास्थ्य प्लेटफॉर्म LISSUN ने आज घोषणा की कि Sunshine by LISSUN बच्चों के विकास और थेरेपी सेवाओं पर केंद्रित इसका विशेष डिवीजन ने लखनऊ में 600 से अधिक बच्चों और किशोरों की ज़िंदगी पर सकारात्मक असर डाला है। शहर के सनशाइन सेंटर बच्चों की स्पीच डिले, ज़्यादा एक्टिव होना, ध्यान और एकाग्रता की दिक्कतें, सेंसरी इंटीग्रेशन की चुनौतियाँ, मोटर स्किल डिले, लर्निंग डिसेबिलिटी और ऑटिज़्म स्पेक्ट्रम डिसऑर्डर जैसी समस्याओं में मदद कर रहे हैं।
इन सेवाओं में स्पीच थेरेपी और ऑक्यूपेशनल थेरेपी को सबसे ज़्यादा रिस्पॉन्स मिला है। इनसे बच्चों को बोलने की समस्या दूर करने, हाइपरएक्टिविटी कंट्रोल करने, और ध्यान व सेंसरी स्किल्स मज़बूत करने में मदद मिली है। यह सफलता शहर के जाने-माने स्कूलों श्री राम ग्लोबल स्कूल, किड्ज़ी प्रीस्कूल, फर्स्टक्राय इंटेलिटॉट्स, यूरोकिड्स और जीडी गोयनका टॉडलर्स के साथ सहयोग और डॉक्टरों व पीडियाट्रिक स्पेशलिस्ट्स की साझेदारी से संभव हुई है।
अभी लखनऊ में Sunshine by LISSUN के 2 सेंटर चल रहे हैं, जहाँ 15 प्रशिक्षित थेरेपिस्ट और प्रोफेशनल्स की टीम काम कर रही है। कंपनी का लक्ष्य 2025–26 तक इसे बढ़ाकर 4 सेंटर करना है।
LISSUN के को-फाउंडर तरुण गुप्ता ने प्रेस इवेंट में कहा- “हम मानते हैं कि हर बच्चे को सही माहौल और मार्गदर्शन मिलना चाहिए ताकि वो प्रगति कर सके। लखनऊ में जो बदलाव देखने को मिले हैं, वे हमें प्रेरित करते हैं कि बच्चों के लिए ऐसा मानसिक स्वास्थ्य इकोसिस्टम बनाएं जो सस्ता, सुलभ और असरदार हो। जब पेरेंट्स हमें बताते हैं कि उनके बच्चे बोलना सीख रहे हैं, ध्यान लगाने लगे हैं, या समाज में आत्मविश्वास से घुल-मिल रहे हैं, तो ये हर परिवार और हमारी टीम की संयुक्त जीत होती है। हमारा सपना है कि कोई भी बच्चा सिर्फ जागरूकता की कमी या क्वालिटी केयर न मिलने की वजह से पीछे न छूटे।”
LISSUN की उत्तर प्रदेश हेड, श्रेया मलिक ने कहा- “स्कूलों, डॉक्टरों और लोकल कम्युनिटी के साथ हमारी साझेदारी शुरुआती दखल के लिए बेहद अहम है। लखनऊ की मज़बूत प्रतिक्रिया हमें भरोसा दिलाती है कि हम इस मॉडल को यूपी के दूसरे शहरों तक भी ले जा सकते हैं। यहाँ तक कि आस-पास के ज़िलों बाराबंकी, सीतापुर, गोरखपुर से भी लोग हमारे पास आते हैं क्योंकि वहाँ अभी मानसिक स्वास्थ्य की सुविधाएँ कम हैं। जब पेरेंट्स हमें कहते हैं कि उनके शहर में भी ऐसे सेंटर खुलें, तो हमें यकीन होता है कि हम टियर-2 शहरों तक भी गुणवत्तापूर्ण सेवाएँ पहुँचा सकते हैं।”
कंपनी की आगे की योजना लखनऊ से आगे बढ़कर यूपी के अन्य शहरों तक पहुँचने की है, जहाँ बच्चों और किशोरों के मानसिक स्वास्थ्य की ज़रूरत सबसे ज़्यादा है। इसके लिए स्कूलों में शुरुआती स्क्रीनिंग, कॉलेजों और कोचिंग संस्थानों में स्टूडेंट वेलनेस प्रोग्राम, पीडियाट्रिक हेल्थकेयर नेटवर्क से जुड़ाव और वर्कशॉप्स व वेलनेस कैम्प जैसी पहलें की जाएँगी।
राष्ट्रीय स्तर पर Sunshine by LISSUN अभी 20 सेंटर चला रहा है और 2025 के अंत तक इसे 40 तक पहुँचाने का लक्ष्य है। अगले 2–4 साल में यह संख्या 200 से भी ज़्यादा सेंटर तक पहुँचाने की योजना है। हाल ही में कंपनी ने अमेरिका की Being Cares, Inc. का अधिग्रहण किया है, जिससे भारत में बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य इकोसिस्टम को और तेज़ी से बढ़ाने में मदद मिलेगी।