एमपीएल ने गेमिंग की धोखाधड़ी वाली गतिविधियों के विरुद्ध कठोर कार्यवाही की

– दुनिया के अग्रणी मोबाइल ईस्पोिर्ट्स एवं डिजिटल गेमिंग प्ले टफॉर्म एमपीएल ने धोखाधड़ी वाले अकाउंट्स के विरुद्ध पूर्व-निर्धारित कार्यवाही कर गेमिंग का एक सुरक्षित माहौल देने के लिये अपनी प्रतिबद्धता को साबित किया है। अकेले पिछली तिमाही में ही एमपीएल ने दो लाख से ज्या्दा अकाउंट्स बैन किये हैं, जोकि 1 मिलियन से ज्या्दा बैन हुए अकाउंट्स के इसके पिछले रिकॉर्ड में जुड़ गये हैं। इनमें से 10 प्रतिशत से ज्याहदा अकाउंट्स उत्त र प्रदेश से थे, जिससे राज्ये में गेमर्स के लिये सुरक्षित खेल गेमप्लेि सुनिश्चित करने के लिये एमपीएल की कोशिशों का पता चलता है। एमपीएल में सिक्योारिटी एण्डक कॉम्लामिलियंस के वीपी रुचिर पटवा ने कहा, “प्लेपयर को सबसे अधिक महत्व देने का एमपीएल का नजरिया निष्प क्ष खेल के लिये हमारी अटूट प्रतिबद्धता को बढ़ावा देता है और हम ऐसी धोखाधड़ी को बिलकुल भी सहन नहीं करते हैं, जो हमारे यूजर्स के अनुभव में बाधा डाले। एक सुरक्षित वातावरण देने के लिये हमने व्या पक उपाय किये हैं। आधुनिक टेक्नो लॉजीज, जैसे कि जीपीएस आइडेंटिफिकेशन, कठोर केवायसी चेक और मशीन लर्निंग पर आधारित पैटर्न रिकॉग्निशन, आदि के माध्य म से हम पूर्वसक्रिय तौर पर धोखाधड़ी की गतिविधियों को पहचानकर हटाते हैं और अपने सभी गेमर्स के लिये बराबरी की स्थिति सुनिश्चित करते हैं।”

उत्तिर प्रदेश भारत के सबसे बड़े राज्योंर में से एक है और इसने खुद को मोबाइल गेमिंग का उत्साोह रखने वालों के लिये एक लगातार विकसित हो रहे केन्द्र् के रूप में स्थाैपित किया है। उत्तमर प्रदेश के साथ ही महाराष्ट्रल, राजस्थावन, बिहार और पश्चिम बंगाल इसी साल एमपीएल द्वारा जारी एक रिपोर्ट ‘इंडिया मोबाइल गेमिंग रिपोर्ट (आईएमजीआर) 2022’ के अनुसार मोबाइल गेमर्स की सबसे बड़ी संख्या के साथ शीर्ष पाँच राज्योंब के रूप में उभरे हैं। इस मामले में लखनऊ, कानपुर, वाराणसी, गाज़ियाबाद और प्रयागराज शहर आगे हैं। उत्त र प्रदेश में 36 प्रतिशत गेमर्स इन शहरों से आते हैं, जिससे गेमिंग के लिये उनका जुनून दिखता है। खासकर लखनऊ को गेमिंग में कौशल के लिये लगातार पहचान मिली है और उसने प्रमुख मेट्रोज की तरक्कीर की दर को भी पीछे छोड़ा है।

एमपीएल एक बहु-सूत्रीय तरीके से खेल की अखंडता को सुरक्षित रखता है। यह प्लेीटफॉर्म सांठ-गांठ को रोकने के लिये जीपीएस आइडेंटिफिकेशन का इस्तेतमाल करता है- एक-दूसरे के समीप मौजूद यूजर्स एक ही टेबल पर नहीं आ सकते हैं। इसके अलावा, टेबल का डायनैमिक एलोकेशन सुनिश्चित करता है कि जो प्लेीयर्स अक्समर साथ में खेलते हैं और लगातार जीतते या हारते हैं, उन्हेंक अलग-अलग टेबल पर रखा जाए। धोखाधड़ी की गतिविधियों को उनकी जड़ से ही रोकने के लिये एमपीएल केवायसी और दस्तांवेजों की जाँच जैसे उपाय करता है। यह प्लेवटफॉर्म ऐसे यूजर्स को स्थालयी रूप से ब्लॉरक कर देता है, जो एक ही केवायसी दस्तांवेज से कई प्रोफाइल बनाने की कोशिश करते हैं। इसके अलावा, एमपीएल ऐसे यूजर्स को ब्लॉरक करता है, जो ऐसे उपकरणों से साइन इन करते हैं, जिनका इस्तेेमाल पहले धोखाधड़ी की गतिविधि में किया जा चुका है। मशीन लर्निंग का फायदा उठाकर एमपीएल पूर्वसक्रिय ढंग से खेल में संदेह वाले पैटर्न दिखा रहे यूजर्स को पहचान कर उन्हेंत फ्लैग करता है। इस प्रकार धोखेबाजों को अनुचित काम करने से रोकने में मदद मिलती है। यह प्लेवटफॉर्म जान-बूझकर की गई चालाकी का भी पता लगा लेता है, जब यूजर्स जीतने की क्षमता के बावजूद गेम को डिक्ले यर नहीं करते या हारते नहीं हैं। बार-बार ऐसा व्यावहार होने पर अकाउंट स्था यी रूप से बंद हो जाता है। एमपीएल की सुरक्षा पहलों को एक ग्लोयबल रिस्कह इंटेलिजेंस कंपनी शील्डऐ का प्रतिष्ठित शील्ड ट्रस्ट‍ सर्टिफिकेशन मिल चुका है। 95.95% के ट्रस्टन स्कोहर के साथ एमपीएल दुनिया की पहली मल्टी्-गेमिंग कंपनी है, जिसे यह प्रमाणन मिला है।

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